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700 कर्मचारियों के गेट पर धरना देने से अस्पताल प्रबंधन भी असहज
- 700 से अधिक उपनल कर्मचारियों के कार्य बहिष्कार पर जाने की वजह से अस्पताल के तमाम महत्वपूर्ण कार्य ठप हो जाएंगे।
- वार्ड में मरीजों को दिक्कत होगी। सफाई कार्य प्रभावित होगा। इसे लेकर एसटीएच प्रबंधन कर्मचारी नेताओं से बात करने की काेशिश कर रहा है।
- डा. सुशीला तिवारी राजकीय चिकित्सालय में कार्यरत 700 से अधिक उपनल कर्मचारी एक बार फिर धरने पर बैठ गए हैं।
उनका कहना है कि सरकार हमारी मांगों की अनदेखी कर रही है। बार-बार हम मांग करते हैं। हमें झूठा आश्वासन दिया जाता है। कोई भी कार्रवाई नहीं होने पर हमें मजबूर होकर फिर धरना देना पड़ रहा है।
- गुरुवार को सुबह से ही 700 कर्मचारियों के गेट पर धरना देने से अस्पताल प्रबंधन भी असहज हो गया है। कर्मचारी नेताओं का कहना है कि हम 10 से 15 साल से कार्यरत हैं।
- न हमारा वेतन बढ़ाया जाता है और न ही हमें स्थायी किया जा रहा है। कई बार तो तीन से चार महीने बाद वेतन दिया जाता है। जबकि हमें हर तरह का कार्य कराया जाता है।
कोरोनाकाल में हमने निभाई अहम भूमिका
- कर्मचारी नेता पूरन भट्ट ने कहा कि कोरोनकाल में हमने कोरोना वार्ड से लेकर इमरजेंसी में हर तरह की भूमिका निभाई।
- कभी कोई शिकायत नहीं की। हम कई वर्षों से समान कार्य पर समान वेतन दिए जाने की मांग कर रहे हैं, लेकिन कोई सुनने को तैयार नहीं है।
- कर्मचारी नेता मोहन रावत का कहना है कि हम लोग राजकीय मेडिकल कालेज के प्राचार्य से लेकर चिकित्सा शिक्षा विभाग के अधिकारियों से लेकर मंत्रियों को कई बार ज्ञापन दे चुके हैं। हमें केवल कोरा आश्वासन देकर शांत करा दिया जाता है।